Sunday, October 11, 2009

वो चाँदनी रात



एक दिन की बात थी ,जब मैं तुम्हारे साथ थी
तारों भरा आसमा था वो कितनी हसीं रात थी |
देखकर तुमको महसूस कुछ इस कदर हो रहा था
जैसे हम दोनों एक दुसरे के लिए बने हैं |
पर शायद किस्मत को कुछ और मंज़ूर है
जिंदगी का बस यही दस्तूर है|
शायद वो हमारी आखरी मुलाकात थी
वो चाँदनी रात थी जब मैं तुम्हारे साथ थी |

2 comments:

  1. You write better in hindi
    Kepp it up

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  2. ahem!!!!!!!!!!!!
    Sahi hai kavitri,
    Aapka Kavi Sammelan kab hai, bata dena.
    Sare couples ko bhej doonge to remind them of the beautiful moments they have shared it together and how bad it really can go if they dont pay respect to what they have :)

    Great going

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